कोलकाता। लोकसभा चुनाव से पहले राज्य सरकार किसी भी वर्ग को असंतुष्ट नहीं करना चहाती है। ऐसे में अगर बात शिक्षकों की हो तो भला कोई सरकार इस वर्ग की अवहेलना ऐसे नाजूक मामले में क्यों करेगी। ऐसे में राज्य के उच्च शिक्षा विभाग ने शिक्षक नियुक्ति के लिए हरी झंडी दे दी है। विभाग ने इसके बारे में अधिसूचना जारी कर दी है। रविवार को एक वरिष्ठ अधिकारी ने इसकी पुष्टि की। उन्होंने बताया कि इस चॉइस बेस्ड क्रेडिट सिस्टम (सीबीसीएस) चालू होने की वजह से शिक्षक नियुक्ति के लिए सरकार पर दबाव बन गया था। इसके अलावा यूजीसी की ओर से छात्रों और शिक्षकों की संख्या के तय अनुपात की तुलना में राज्य में बहुत अधिक अंतर आ गया था। इसके अलावा सेमेस्टर आधारित परीक्षा होने की वजह से छात्रों को न तो किसी विषय की पूरी पढ़ाई करने का मौका मिलता था और न ही शिक्षक किसी एक क्लास के पूरे पाठ्यक्रम को ढंग से पढ़ा पाते थे। ऐसे में पश्चिम बंगाल सरकार की ओर से उच्च शिक्षण संस्थानों में शिक्षकों की नियुक्ति को हरी झंडी देने के बाद ऐसा अनुमान लगाया जा रहा है कि इससे बड़े पैमाने पर शिक्षकों पर पड़े दबाव को कम किया जा सकेगा। इसके अलावा स्नातक और स्नातकोत्तर की पढ़ाई कर बेरोजगार बैठे छात्रों को भी रोजगार का मौका मिलेगा।

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