राज्यसभा की एक सीट पर कांग्रेस की जीत तय

कांग्रेस- वाम के बीच मतभेद से डुबी लुटिया

कोलकाता। बंगाल में एक राज्यसभा सीट पर कांग्रेस की जीत तय हो गई है. ऐसा वाम उम्मीवार विकास भट्टाचार्य का नामांकन रद्द होने की वजह से हुआ. वहां छह राज्यसभा सीटों के लिए चुनाव होने हैं, जिसमें पांच पर तृणमूल उम्मीदवारों की जीत तय है लेकिन छठी सीट पर असमजंस की स्थिति थी. जिस पर कांग्रेस और वाममोर्चा दोनों ने उम्मीदवार खड़े कर दिए थे. दरअसल तृणमूल ने पहले ही कहा था कि छठी सीट पर वह अपना उम्मीदवार खड़ा नहीं करेगी बल्कि कांग्रेस का समर्थन करेगी. इसे बंगाल की राजनीति में कांग्रेस और तृणमूल के करीब आने के तौर पर देखा जा रहा है.  इसका मतलब ये हुआ कि विधानसभा चुनावों के दौरान कांग्रेस और वाम दलों के बीच जो समझौता हुआ था. वो अब खटाई में पड़ गया है.
छठी राज्यसभा सीट के लिए वाममोर्चा ने विकास भट्टाचार्य को उम्मीदवार बनाया था, जिस पर कांग्रेस ने एतराज जाहिर कर कहा था कि वाममोर्चा ने ऐसा करते हुए उन्हें विश्वास में नहीं लिया. कांग्रेस ने वाम मोर्चा के सीताराम येचुरी के चुनाव नहीं लड़ने पर पहले ही प्रदीप भट्टाचार्य को इस सीट से अपना कैंडीडेट बनाया था. अब वाम उम्मीदवार विकास का नामांकन खारिज होने से कांग्रेस की एक सीट पर जीत तय हो गई.
कहा जा सकता है कि वाम मोर्चा ने खुद ही अपने पैरों पर कुल्हाड़ी मारी. पहले इस सीट पर सीताराम येचुरी को वाममोर्चा उम्मीदवार बनाने की बात थी. कांग्रेस ने तब साफ कर दिया था कि अगर येचुरी चुनाव लड़ते हैं तो वह उनका समर्थन करेगी लेकिन माकपा ने येचुरी को उम्मीदवार नहीं बनाया. ऐसी स्थिति में कांग्रेस ने अपना उम्मीदवार मैदान में खड़ा कर दिया. ममता ने तुरंत समर्थन देने की बात भी कह दी.
विकास भट्टाचार्य के नामांकन को रद्द करने की वजह चुनाव आयोग ने इसका देर से दाखिल करना बताया है. वह नामांकन करने के लिए 02.35 मिनट पर पहुंचे लेकिन जब उन्होंने इसे भरकर दाखिल किया, तब तक तीन बजकर दो मिनट हो चुके थे. राज्यसभा के चुनाव अधिकारी इसे लेने से इनकार कर दिया. तब वाम मोर्चा ने दलील दी कि नामांकन 02.58 बजे दाखिल किया गया.  दिल्ली में चुनाव आयोग ने तुरंत सारे कागज ईमेल के जरिए मंगाए. शाम सात बजे तक आयोग ने नामांकन पेपर के खारिज होने पर मुहर लगा दी.
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