कोेलकाता से रांची बुलाकर बदमाशों ने दिया वारदात को अंजाम

कोलकाता। देश भर में अधिवक्ता सुरक्षा अधिनियम की मांग जोर शोर से चलने के बीच महानगर कोलकाता के निवासी व सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता जितेश साह को अपहरण कर हत्या की कोशिश का

आरोपी विनय मिश्रा

मामला प्रकाश में आया है। पुलिस व अधिकारिक सूत्रों ने बताया कि घटना झारखण्ड के रांची स्थित सुखदेव नगर थाना इलाका में घटी। वारदात की लिखित शिकायत उक्त थाने में दर्ज की गई है। घटना के आरोपी विनय मिश्रा सहित अन्य आरोपी फरार है और पुलिस इनके तलाश में छापे मार रही है। अधिकारिक सूत्रों ने बताया कि महानगर कोलकाता के बड़ाबाजार इलाके के निवासी मोहन मिश्रा के पुत्र विनय मिश्रा ने कलकत्ता हाई कोर्ट के अधिवक्ता विष्णु कांत तिवारी को बताया कि उसके करीबी पप्पू सिंह के दो बेटों को गोंडा थाना द्वारा गांजा के साथ गिरफ्तार किया है। विष्णु कांत तिवारी रांची आकर इस केस को लड़े और इंसाफ दिलाने में मदद करे। पप्पू सिंह से विनय ने विष्णु कांत तिवारी से फोन पर बात भी कराई। विष्णु कांत तिवारी अपने सहकर्मी व सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता जितेश साह के साथ रांची पहुंचे और एक होटल में रुके जहां उक्त लोगों को अपने मुव्वकिल पप्पू सिंह से मिलना था। कथित पप्पू सिंह होटल में नहीं आये और अधिवक्ता जितेश साह व विष्णु कांत तिवारी को घर बुलाया गया। आरोप है कि यहां भी मुवक्किल नहीं मिला और अधिवक्ता विष्णु कांत तिवारी को विनय मिश्रा अन्य जगह लेकर गया कि उक्त जगह पर मुवक्किल से मुलाकात होगी। इधर उक्त घर में अकेले रह रहें सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता जितेश साह। उक्त घर में कथित केयरटेकर सत्या व एक अन्य बदमाश ने रिवाल्वर के बल पर अधिवक्ता जितेश साह के गले में तौलिया फंसाकर उन्हें काबू में करने व मुंह में टेप लगने की कोशिश की। अधिवक्ता को इस दौरान उन्हें जमकर मारापीटा गया। जितेश साह किसी तरह से उक्त लोगों से स्थानीय लोगों की मदद पर जान बचाकर भागने में कामयाब हों गये। पुलिस ने प्राथमिक जांच में पाया है कि विनय मित्रा ही मामले का मास्टर माइण्ड है। पप्पू सिंह नामक कथित मुवक्किल काल्पनिक पात्र है जिसके नाम झूठ बोल कर दोनों अधिवक्ताओं को रांची बुलाया था। सुखदेव नगर थाना प्रभारी पुष्पा कुमारी के अनुसार जल्द से जल्द सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया जाएगा।

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