कोलकाता। पुलिस का काम ही होता है कि अपराध का दमन करना व पीड़ित लोगों को इंसाफ दिलाना। लेकिन कई मामलों पर खाकी अपने इस कार्य से भटक जाती और फिर तब खाकी पर ही सवाल उठने लगते है। महानगर कोलकाता से सटे हावड़ा के शिबपुर पुलिस थाना के खिलाफ भी आरोप है कि उक्त थाना के द्वारा दुष्कर्म के एक मामले में पीड़िता की शिकायत ही नहीं दर्ज की जा रही है। पीड़िता के अधीवक्ता जितेश शाह ने आरोप लगाते हुए आज मीडिया कर्मियों को उक्त जानकारी दी। उन्होंने आरोप लगाया कि कई लोगों द्वारा एक दुष्कर्म के मामले में शिवपुर की पुलिस ने लगभग एक माह के बाद भी शिकायत दर्ज ही नहीं किया।अधीवक्ता जितेश शाह ने आरोप लगाते हुए कहा कि पिछले महीने 24 तारीख़ को बेहाला (महेशतला) की एक लड़की हावड़ा स्थित अपने भाई के ससुराल से किसी तरह निकल कर अपनी मां और पिता के साथ उक्त पुलिस स्टेशन पहुंच कर अपनी भाभी के दो भाईयों के ख़िलाफ़ दुष्कर्म की कोशिश के ख़िलाफ़ एफ़आईआर दर्ज करवाने गई। लेकिन पुलिस ने उनकी बात सुनकर उक्त पीड़िता की शिकायत तक दर्ज नहीं की गई थी। अधीवक्ता जितेश शाह ने आरोप लगाया कि किसी तरह शाम तक पीड़िता अपने वकील के आने तक इंतज़ार करती रही और पुलिस ने अधीवक्ता के अड़े रहने पर शिकायत दर्ज किया लेकिन शिकायत की रिसिविंग भी पीड़िता के वकील को नहीं दी। लेकिन तब तक पीड़िता के अधीवक्ता ने शिकायत पत्र की तस्वीर किसी तरह मोबाइल कैमरे में कैद कर लिया। इसके बाद भी पुलिस मामले पर मौन ही है। वरन पीड़िता का आरोप है कि उल्टे पुलिस आरोपियों की महिमा का बयान करते हुए मामले को ढांकने की ही दबाव दे रही है। पीड़िता के परिवार का आरोप है कि ऐसा पुलिस आरोपी के परिवार से चढ़ावा लेकर उनके इशारे पर कर रही हैं।पीड़िता के परिवार के लाख कोशिशों के बाद भी आरोपी पर अब तक कोई क़ानूनी कार्यवाई नहीं हो सकी है। लेकिन मामले की शिकायत कलकत्ता हाई कोर्ट के मुख्य न्यायधीश, पुलिस महानिदेशक, पुलिस कमिश्नर, डिप्टी कमिश्नर (मुख्यालय) को किया गया है लेकिन अभीतक मामले में कार्रवाई नहीं हो सकी है।बहरहाल पीड़िता व उसके परिवार को उम्मीद है कि उन्हें न्याय व्यवस्था व पवित्र खाकी पर भरोसा है कि उन्हें न्याय जरुर मिलेगा।

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