माल्दा में बंद समर्थकों पर पुलिस फायरिंग

तृणमूल व एसएफआई समर्थकों के बीच भिड़ंत

कई जगहों पर रेल व परिवहन सेवा प्रभावित

बड़ाबाजार में छाया रहा सन्नाटा

सरकारी बस चालकों ने हेलमेट पहना

रेलवे ट्रैक पर मिले चार देसी बम

कोलकाता। एक और बंद से बेअसर नही रहा यह राज्य। बंद के दौरान राज्य भर से गड़बड़ी की खबर है और बंद समर्थकों को तितर बितर करने के लिये माल्दा स्थित कालियाचक के सुजापुर में पुलिस ने जहां लाठी व आंसू गैस का उपयोग किया वही हवाई फायरिंग भी किया। केंद्र सरकार की ‘मजदूर-विरोधी’ नीतियों के खिलाफ आज एक दिन का भारत बंद बुलाया गया। इसके समर्थन में मजदूर संगठनों के साथ ही वामपंथी दलों और कांग्रेस समर्थकों ने प्रदर्शन किया जिसके चलते राज्य के कई हिस्सों में सड़क और रेल यातायात बाधित हुआ। कई स्थानों से हिंसा की छिटपुट घटनाएं भी सामने आई हैं। महानगर कोलकाता के अत्यंत महत्वपूर्ण व्यवसायिक स्थल बड़ाबाजार में आज बंद का असर साफ दिखा। अन्य दिनों की तरह लोगों से गुलजार रहने वाले बड़ाबाजार में काफी संख्या में दुकान पाट बंद रहें व सन्नाटा रहा। बर्दवान में तृणमूल कांग्रेस और स्टूडेंट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया के कार्यकर्ता आपस में भिड़ गए।प्रदर्शनकारियों ने राज्य के कई स्थानों पर रेल और सड़क यातायात बाधित किया, जिससे सामान्य जनजीवन प्रभावित हुआ। पूर्वी बर्दवान जिले में विभिन्न स्थानों पर जलते हुए टायर डाले गए और सड़कें बाधित की गईं। इसके अलावा रेलवे पटरियों को भी अवरुद्ध किया गया जिससे रेल यातायात बाधित हुआ। पूर्व मिदनापुर जिले में बसों पर पथराव किया गया।पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को हटाने का प्रयास किया जिसके बाद झड़प शुरू हो गई। इसके बाद कई प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार कर लिया गया। पुलिस ने बताया कि महानगर कोलकाता से सटे दमदम और लेक टाउन इलाकों में वाम समर्थकों और तृणमूल समर्थकों में झड़प हुई। हालात पर काबू पाने के लिए भारी पुलिस बल को घटनास्थल पर भेजा गया। उन्होंने बताया कि उत्तरी 24 परगना जिले के बारासात इलाके में सड़कों पर देसी बम मिले। प्रदर्शनकारियों ने जिले के औद्योगिक हिस्से में रैलियां निकालीं और सड़कों और रेलवे पटरियों को अवरुद्ध किया। हालांकि, पुलिस ने यातायात सुचारू करने के लिए उन्हें हटा दिया। महानगर कोलकाता में सरकारी बसें सामान्य रूप से चल रही हैं लेकिन शुरुआती घंटों में निजी बसों की संख्या कम थी। इस दौरान शहर में मेट्रो सेवाएं सामान्य थीं और सड़कों पर ऑटो-रिक्शा तथा टैक्सियां भी चल रही थीं।टालीगंज, बेहाला, धर्मतल्ला और यादवपुर समेत शहर के कई इलाकों में बंद के दौरान छिटपुट गड़बड़ी हुई । उक्त जगहों पर भारी संख्या में पुलिस तैनात रही। उत्तर बंगाल के कुछ इलाकों में तृणमूल कांग्रेस ने हड़ताल का विरोध करते हुए रैलियां निकालीं और लोगों से सामान्य स्थिति बनाए रखने का आग्रह किया। देश के प्रमुख संघों इंटक, सीटू, सेवा, एआईटीयूसी, एचएमएस, एआईयूटीयूसी, टीयूसीसी, एआईसीसीटीयू, एलपीएफ और यूटीयूसी ने आज देशव्यापी हड़ताल का आह्वान किया था और उनका दावा किया कि इसमें लगभग 25 करोड़ श्रमिक शामिल हुए होंगे। दक्षिण चौबीस परगना के जयनगर, कुलतली सहित कई जगहों पर बंद का असर साफ नजर आया।वहीं डायमण्ड हार्बर व  सिलिगुड़ी में सरकारी बस चालकों को सिर पर हेलमेट पहन कर बस चलाते हुए देखा गया। सिलिगुड़ी में उत्तर बंगाल राज्य परिवहन निगम के बस ड्राइवरों ने हेलमेट के बिना बस चलाने से इंकार किया व  हेलमेट पहन कर बस चलाया। कोलकाता नगर निगम में आज सरकारी कर्मियों की उपस्थिति 90 फिसदी दर्ज की गयी। पूरे उत्तर बंगाल में बंद का व्यापक असर पड़ा है।सिलीगुड़ी, जलपाईगुड़ी, अलीपुरद्वार, रायगंज, इस्लामपुर, बालुरघाट, मालदा आदि समस्त जगहों पर इक्का-दुक्का छोड़ सभी दुकान-बाजार बंद हैं। सड़कों पर वाहनों की आवाजाही नाम मात्र की रही। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने वामदलों और कांग्रेस के भारत बंद पर कहा कि हम राज्य में हड़ताल की इजाजत नहीं देंगे, जो ऐसी कोशिश कर रहे हैं, उनका बंगाल में कोई राजनीतिक आधार नहीं है। यह आंदोलन नहीं, ‘दादागिरी’ है। मैं इसकी निंदा करती हूं’। वाममोर्चा विधायक दल के नेता सुजन चक्रवर्ती ने बंद को सफल करार दिया व बंद का समर्थन नहीं किए जाने को लेकर सीएम ममता बनर्जी पर तंज कसा और कहा कि दिल्ली की केंद्र सरकार से ममता बनर्जी के निजी स्वार्थ हो सकते हैं लेकिन हमें दिल्ली से भय नहीं। जबकि प्रदेश भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष ने कहा जहां तक वाममोर्चा और कांग्रेस का सवाल है तो दोनों ही दल अपना अस्तित्व बचाने की लड़ाई लड़ रहे हैं।

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