तीन यात्री हुए अस्वस्थ्य
घटना से व्यवस्था के हाथ पांव फुले

कोलकाता। मेट्रो रेल के तमाम दावों व सुरक्षा मुहिम की पोल आज एक बार तब खुल गई जब एक बार फिर मेट्रो के नॉन एसी रैक के नीचे से धुआं निकलने पर यात्रियों में अफरा-तफरी मची। धुएं से तीन यात्रियों की तबीयत बिगड़ गई। गनीमत रही कि रैक के टनल में घुसने से पहले ही कर्मचारियों की निगाह पड़ गई थी वरना बड़ा हादसा हो सकता था। तत्काल ट्रेन को रोककर यात्रियों को नीचे उतारा गया और अस्वस्थ हुए यात्रियों का उपचार किया गया। घटना के चलते कुछ समय के लिए मेट्रो संचालन ठप हो गया। सूत्रों के अनुसार गुरुवार पूर्वान्ह 11.10 बजे मेट्रो के नॉन एसी रैक को कवि सुभाष स्टेशन के लिए रवाना किया गया। प्लेटफॉर्म छोड़ते ही पीछे के कोच में नीचे से निकलते धुंए पर कर्मचारियों की नजर पड़ गई।तत्काल इसकी सूचना मेट्रो अधिकारियों के साथ ही मोटरमैन को दे दी गई। यात्रियों में भी चीख पुकार मच गई। तत्काल ट्रेन को रोककर यात्रियों को नीचे उतारा गया। धुआं से तीन यात्रियों की तबीयत बिगड़ गई।उन्हें उपचार के लिए आरजी कर अस्पताल भेज दिया गया। दमकल की दो गाड़ियों को भी बुला लिया गया। ऑफिस टाइम पर घटना से आतंकित यात्रियों ने मेट्रो रेल प्रशासन के खिलाफ रोष प्रकट किया। गनीमत रही कि समय रहते घटना की जानकारी हो जाने पर बड़ा हादसा टल गया।कुछ समय बाद मेट्रो संचालन पुनः शुरू कर दिया गया। बताया गया कि काफी पुराने रैक का संचालन और रखरखाव में कमी की वजह से आए दिन इस तरह की घटनाएं हो रही है। घटना की वजह से डाउन लाइन पर कुछ समय के लिए मेट्रो संचालन ठप हो गया ’ परीक्षण के लिए रैक को नोआपाड़ा कार शेड में भेज दिया गया। बता दें कि गत माह मैदान स्टेशन के पास टनल में एसी रैक के कोच में आग लगने से कई यात्री जख्मी हो गए थे। इस बाबत मेट्रो रेलवे की सीपीआरओ इंद्राणी बनर्जी ने बताया कि घटना पर तत्काल कर्मचारियों की नजर पड़ गई थी जिससे ट्रेन को रोक दिया गया था। पुराने रैक को हटाकर शीघ्र ही नए रैक को चलाया जाएगा ताकि इस तरह की घटनाएं भविष्य में न हो। रैक के रखरखाव में किसी तरीके की लापरवाही नहीं बरती जाती है। उन्होंने बताया कि घटना की जांच के आदेश दिए गए है।

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